बुधवार, 28 अगस्त 2019

चल झूठे

झोला उठा कर चला जाएगा भोगी
चल झूठे
राज सिंहासन पर बैठा योगी
चल झूठे
चिडिय़ा, पत्ती, फूल और कलियाँ
सब उदास हैं
मुझसे बिछड़ कर वो खुश होगी
चल झूठे

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

मिसरा

 झूठों के सारे झूठ भी नहले निकल गए साहब हमारे दहलों के दहले निकल गए  फर्जी जो निकली डिग्री तो है शर्म की क्या बात  वादे भी तो सारे उनके जुमल...